होटल का रूम हो या धर्मशाला, आपने देखा होगा कि बेड पर चादर सफेद ही बिछाई जाती है। लेकिन, क्या आपने कभी सोचा है कि आखिर सफेद चादर ही क्यों बिछाई जाती है, जबकि सफेद रंग ही सबसे जल्दी गंदा दिखाई देता है। अगर आपको इसके बारे में नहीं पता है तो परेशान मत हों, क्योंकि आज हम आपको इसके पीछे का कारण बताने जा रहे हैं।
यार होटल में रूकेंगे
दोस्त-लोग जब पार्टी करते हैं और खासतौर पर बाहर जाकर जब यह प्लान बन जाए कि दो रात होटल में रूकेंगे… तो सिंगल लड़के तो खिल जाते हैं। क्योंकि उन्हें लगता है कि अरे यार अब चादर खुद नहीं धोनी होगी। जितनी मर्जी गंदी करो। जूते पहन कर ही सो जाओ टाइप। लेकिन लोगों ने यह कभी दिमाग नहीं लगाया कि आखिर वहां सफेद चादर बिछाई क्यों जाती है, हमने लगाया है पर।
सफाई दिखाती है सफेद चादर
हर होटल में कस्टमर सफाई की डिमांड करता है। वो यह मानता है कि गंद मचाना उसका हक है। सफेद चादर हर कमरे में बिछाने का पहला कारण ये है कि वो रूम की सफाई को बयान करती है। उसे देखकर लगता है कि यह कमरा बहुत साफ है। और कस्टमर झटके से बुकिंग कर देता है।
काफी ध्यान रखना पड़ता है
सफेद चादर की एक खासियत यह है कि इसमें थोड़ा सा भी कुछ गिरा तो निशान छूट जाएगा। कस्टमर फिर खाने-पीने में काफी ध्यान रखता है। वो सफाई के प्रति अवेयर हो जाता है। दाग तो वैसे भी नहीं छुपाए जा सकते।
ब्लीच करना होता है आसान
सफेद कपड़ों पर ब्लीच आसानी से हो जाता है। ब्लीच से चादर चमक जाती है। इसमें ब्लीच कम भी इस्तेमाल की जाती है।
रिलेक्स फील करते हैं मेहमान
सफेद रंग मन को शांत रखता है। सफेद रंग की चादर होटल्स के कमरों में इसलिए भी बिछाई जाती है ताकि गेस्ट रिलेक्स कर सकें। बाकी रिलेक्स तो अपने घर में ही मिलता है, चादर चाहे किसी भी रंग की हो।
खास वजह
1990 के दशक से पहले, होटल में रंगीन चादरें इस्तेमाल की जाती थीं। उनका रखरखाव करना आसान होता था क्योंकि उसमें लगे दाग छुप जाते थे। जिसके बाद, वेस्टिन के होटल डिजाइनरों ने एक रिसर्च की, जिसमें कहा गया कि गेस्ट के लिए एक लक्जरी बेड का मतलब क्या होता है। जिसके बाद गेस्ट की हाइजीन क ध्यान में रखकर सफेद बेडशीट का ट्रेंड चल पड़ा।